पापा मुझे छोड़ने स्टेशन आया न करो... आँसू छिपाते हो फेर कर नज़रे , इतना फीका मुस्कुराया न करो ..पापा मुझे छोड़ने आया न करो... हिदायत से घर भर की लाइट्स बुझाते , सोच कर भी न कितने सामान खरीदते , गाड़ी का माइलेज चेक करते रहते , मेरे हाथ में ए टी एम थमाया न करो ... पापा मुझे छोड़ने स्टेशन आया न करो । पानी की बॉटल रखी या नही , टिकट कही भूली तो नही , पर्स में खुले पैसे रखे या नही इतना नम प्यार जताया न करो ....पापा मुझे छोड़ने आया न करो । सीट के नीचे बैग जमाते , ध्यान रखना अकेली जा रही , साथ की किसी महिला को बताते , पल पल इतनी चिंता जताया न करो ...पापा मुझे छोड़ने आया न करो । पहुँचते ही कर देना फोन , अब कब होगा आना फिर तुम्हारा , रग रग कर देते हो तन्हा , उदासी से सर पर हाथ फिराया न करो.. आप स्टेशन आया न करो.. मैं खामोश रीती हो जाती , जी भर ऐसे गले लगाया न करो... दूर तक देखती रह जाती हूँ बिखर कर , ग़मगीन खड़े यू हाथ हिलाया न करो ,.. आप स्टेशन आया न करो... चप्पा चप्पा कर देते हो वीरान , रुन्धा गला बेमतलब बातो में छिपाया न करो , मेरा आगा पीछा सोच सोच , अपना कलेजा दुखाया...